बाराबंकी जिले में अफीम के लाइसेंसी काश्तकारों से मिलीभगत करके अफीम और पोस्ते के छिलके की तस्करी हाईवे के ढाबों पर धड़ल्ले से की जा रही है। जिले की पुलिस ने हाईवे किनारे एक ढाबा संचालक समेत तीन लोगों को गिरफ्तार कर उनके पास से अफीम, पोस्ता का छिलका, कार और तीन लाख 19 हजार रुपये नगद बरामद कर ये बड़ा खुलासा किया है।
वीओ- सुनील सिंह नाम का शख्स रामसनेहीघाट क्षेत्र में ढाबा चलाता है। सुनील सिंह ये नशीले पदार्थ गोविंद मौर्या से खरीदता था और तीसरा साथी राम नेवाज ढाबे पर आने वाले ग्राहकों को पोस्ता छिलका बेचता था। यहां से माल बाहर जाने के कारण पोस्ते का पाउडर और अफीम की भारी खपत होती थी। बाराबंकी पुलिस ने इस गैंग के पास से 183 किलो ग्राम पोस्ता का छिलका, 560 ग्राम अफीम और पोस्ता का छिलका बेच कर रखा गया तीन लाख 19 हजार रुपये और एक कार बरामद की गहै।
वीओ- आरोपियों ने बताया कि नारकोटिक्स विभाग बाराबंकी में विभिन्न थाना क्षेत्रों में अफीम की खेती का लाइसेंस दिलाता है। फूल और फिर फल आने पर नारकोटिक्स विभाग की टीम की निगरानी में चीरा लगाकर मादक पदार्थ इकट्ठा किया जाता है और फसल सूखने पर फल का दाना अलग कर दिया जाता है। बाकी शेष फसल को नष्ट करने के लिए जुतवा दिया जाता है, लेकिन सूखे फल की कपेरी को चोरी-छिपे जमा कर नशे के लिए इस्तेमाल करने के लिए तस्करी की जाती है। हम लोग लाइसेंसशुदा किसानों से चोरी-छिपे यह लेकर कर ऊंचे दामों पर बेचते हैं।