राज्य के तत्कालीन सीएम उद्धव ठाकरे ने अपनी नैय्या डूबती देखी तो जाते-जाते औरंगाबाद का नाम संभाजीनगर करने का प्रस्ताव पारित किया था। यह निर्णय औरंगाबाद वासियों पर जबरन थोपने का खेल खेला जा रहा है। औरंगाबाद की जनता को नामांकरण से कोई दिलचस्पी नहीं है। जिस तरह एक क्षेत्र में अगर शराब और बीयर शॉप खोलने के लिए परिसर की जनता का मतदान लेने का प्रावधान है, उसी तरह औरंगाबाद की जनता का नामांतरण को लेकर मत जानने के लिए मतदान लेने की मांग जिले के एमआईएम सांसद इम्तियाज जलील ने आयोजित प्रेस वार्ता में की।