सपा ने शनिवार को विधानसभा चुनाव में मिली हार के कारणों की समीक्षा की और हारने वाले पार्टी प्रत्याशियों से फीडबैक लिया। एक एजेंसी की सर्वे रिपोर्ट भी पेश की गई। पार्टी ने स्वीकार किया कि टिकट वितरण में देरी, मतदाता सूची में गड़बड़ी, तालमेल का अभाव व लचर रणनीति की वजह से विधानसभा में कई सीटों पर पार्टी प्रत्याशी मामूली अंतर से हारे। तय किया गया कि नई रणनीति से 2024 के लोकसभा और 2027 के विधानसभा चुनाव लड़ा जाएगा। अभी से जनता के बीच रह कर संघर्ष करने वालों को 2027 में मौका दिया जाएगा। अब टिकट के लिए आवेदन नहीं मांगे जाएंगे। हाई कमान सीधे प्रत्याशी तय करेगा।