https://youtu.be/680fKYqlHis
सुरभि अपने पिता रामदीन के के साथ हरिपुर गांव में रहती थी, सुरभि दो साल की थी तो उसकी माँ का देहांत हो गया था, तब से रामदीन ने ही उसे माँ और बाप बनकर कर पाला, रूखी-सुखी खाकर दोनों बाप बेटी गुजरा कर रहे थे ------ आगे की कहानी सुनने के लिए वीडियो लिंक पर क्लिक करे।