चुनाव आयोग ने केंद्र सरकार से सिफारिश की है कि सभी राजनीतिक दल अपने एकाउंट का ब्योरा रखें और चार्टर्ड एकाउंटेंट से अपने एकाउंट का ऑडिट कराएं, फिर उसके बाद ऑडिट का ब्योरा चुनाव आयोग को सौंपा जाए। चुनाव में कालेधन का प्रवाह रोकने के लिए आयोग ने कई चुनावी सुधारों का प्रस्ताव दिया है लेकिन इनमें से अधिकतर सरकार के समक्ष लंबित हैं। सूत्रों के मुताबिक चुनाव आयोग ने चुनाव लड़ने के कानून में भी बदलाव की मांग की है। गलत एफिडेविट देने पर उम्मीदवार को अयोग्य घोषित किया जाना चाहिए। आयोग ने सिफारिश की है कि एक उम्मीदवार एक ही क्षेत्र से चुनाव लड़ें। एक उम्मीदवार का चुनाव खर्च 70 लाख रुपए से ज्यादा नहीं होना चाहिए, साथ ही आयोग ने चुनाव प्रक्रिया में रिश्वत के केस या गलत एफिडेविट देने की स्थिति में 2 साल की सजा की भी मांग की है।